पृथ्वी की आत्मकथा

 पृथ्वी की आत्मकथा

पृथ्वी की आत्मकथा

मैं पृथ्वी हूँ, मुझमें सब कुछ समाया हुआ है। मनुष्य, वृक्ष-झाड़ी, पशु-पक्षी, घर-दुकान, नदी-समुद्र आदि सभी वस्तुओं का भार मैंने उठाया है। मुझे अपनी रचना के बारे में ज्यादा याद नहीं है। लेकिन कुछ वैज्ञानिकों का मानना ​​है कि मेरा लगभग 5 अरब साल पहले बनाया गया था। अंतरिक्ष में विभिन्न गैसों के मिश्रण से बहुत बड़ा विस्फोट हुआ। इस विस्फोट से आग का एक विशाल गोला बना जिसे आज हम सूर्य कहते हैं। विस्फोट से चारों तरफ धूल के कण बन गए। गुरुत्वाकर्षण की मदद से ये छोटे-छोटे धूल के कण आपस में जुड़ गए। और इन्हीं कणों से छोटे-बड़े पत्थर बने और इन पत्थरों ने आपस में जुड़कर हमारा सौर मंडल बनाया।


शुरुआत में मेरा तापमान अन्य ग्रहों और सूर्य की तरह तीव्र था लेकिन धीरे-धीरे मैं ठंडा हो गया। इसके बाद आसमान से तरह-तरह के उल्कापिंड मुझ पर गिरने लगे। इन उल्काओं के टकराने से मुझ पर अलग-अलग द्वीप बन गए। इन उल्कापिंडों के साथ कुछ खनिज और अमीनो एसिड भी आए जो जीवन को जन्म देते हैं। ये जड़ें धीरे-धीरे छोटे अमीबा से आज के इंसान तक विकसित हुईं।


विज्ञान में और अलग-अलग धर्मों में मेरी उत्पत्ति की कहानी अलग-अलग तरह से कही गई है। लेकिन यह ज्यादा मायने नहीं रखता। आज मेरा आकार गोल है। मैं जाति धर्म में विश्वास नहीं करता, मैं किसी व्यक्ति के साथ भेदभाव नहीं करता। मुझे हानि पहुँचाकर मनुष्य अपना ही अहित करता है। मुझ पर कई हानिकारक पदार्थ उत्पन्न हो रहे हैं। मुझ पर बड़ी मात्रा में गैर-जैव निम्नीकरणीय कचरा, पॉलिथीन आदि डाला जा रहा है। मनुष्य अपने थोड़े से लाभ के लिए मेरे अंदर रासायनिक कीटनाशक डालकर मुझे बाँझ बना रहा है। तुम्हारे ये कीटनाशक मुझे बहुत नुकसान पहुंचा रहे हैं। आज मनुष्य ने मुझ पर बहुत जल प्रदूषण, वायु प्रदूषण, ध्वनि प्रदूषण और मिट्टी प्रदूषण किया है।


यद्यपि मनुष्य ने अपने स्वार्थ के लिए मुझे हानि पहुँचानी शुरू कर दी है, फिर भी मुझे खुशी है कि भगवान ने ऋषियों को नष्ट करने के लिए मुझ पर कई अवतार लिए हैं। भगवान विष्णु, पैगंबर मुहम्मद, ईसा मसीह जैसे देवताओं ने अपने चरणों के स्पर्श से मुझे पवित्र किया है। देवी आदिशक्ति ने मेरी भूमि पर अवतरित होकर अनेक राक्षसों का नाश किया है।


अंत में मैं यही कहना चाहूंगा कि अगर आप मुझे नुकसान पहुंचाते हैं तो इसका सीधा असर आपके जीवन पर पड़ेगा। मुझे सृष्टिकर्ता ने अंदर से इतना सुंदर बनाया है। मेरे पास कई खूबसूरत बगीचे हैं। मेरे कारण मनुष्य और पशु-पक्षियों का जीवन सुरक्षित है। इसलिए मेरे बारे में नहीं अपने बारे में सोच कर प्रदूषण को रोकें। और मुझे सारे जीवन के लिये सुरक्षित स्थान बना।


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Source: Internet

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